कल्पवास करने से होते हैं लाभ, जानें इसका महत्व

WRITTEN BY Team Bhakt Vatsal 10th Jan 2025

महाकुंभ का सनातन धर्म में महत्वपूर्ण स्थान है। इसमें कल्पवास की परंपरा भी सदियों से चली आ रही है।

धार्मिक मान्यता के अनुसार, पवित्र नदियों के किनारे कल्पवास करने से व्यक्ति को पुण्य फल प्राप्त होता है।

तीन रात, छह महीने, छह साल या जीवन भर कल्पवास के नियमों का पालन कर पुण्य प्राप्त कर सकते हैं।

संगम घाट पर रहते हुए श्रद्धालु का विशेष नियमों का पालन करते हुए समय बिताना कल्पवास कहलाता है।

आदिकाल से चली आ रही इस परंपरा का महत्व रामचरितमानस से लेकर महाभारत तक में मिलता है।

माघ और कुंभ मेले में इसका खास महत्व होता है। कल्पवास करने से मनुष्य की आत्मशुद्धि भी होती है।

कल्पवास के समय से मनचाहे फल की प्राप्ति होती है। यह व्यक्ति को आध्यात्म की राह पर ले जाता है। 

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