तुम करलो प्रभु से प्यार, अमृत बरसेगा(Tum Karlo Prabhu Se Pyar Amrat Barsega)

तुम करलो प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा,

बरसेगा नित बरसेगा,

तुम करलों प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा ॥


दया धर्म से प्रीति करलो,

भव सागर से पार उतर लो,

तेरा हो जाए बेडा पार,

अमृत बरसेगा,

तुम करलों प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा ॥


सत्य ज्ञान ही गहना,

कड़वा बोल कभी ना कहना,

तुम करो आत्म उद्धार,

अमृत बरसेगा,

तुम करलों प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा ॥


ॐ नाम का अमृत प्याला,

पी ले बनकर किस्मत वाला,

ये मिले ना बारमबार,

अमृत बरसेगा,

तुम करलों प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा ॥


तुम करलो प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा,

बरसेगा नित बरसेगा,

तुम करलों प्रभु से प्यार,

अमृत बरसेगा ॥


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दिसंबर माह के प्रदोष व्रत

सनातन धर्म में प्रदोष व्रत को अत्यंत शुभ और फलदायी माना जाता है। यह व्रत हर माह के कृष्ण और शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है। भगवान शिव की साधना करने वाले साधक को पृथ्वी लोक के सभी सुख प्राप्त होते हैं और मृत्यु उपरांत उच्च लोक में स्थान मिलता है।

जो शिव नाम होठों पे चढ़ गयो रे (Jo Shiv Naam Hothon Pe Chadh Gayo Re)

जो शिव नाम होठों पे चढ़ गयो रे,
तो समझो ये जीवन संवर गयो रे ॥

मेरी अखियाँ तरस रही, भोले का दीदार पाने को(Meri Akhiyan Taras Rahi Bhole Ka Didar Pane Ko)

मेरी अखियाँ तरस रही,
भोले का दीदार पाने को,

राम नाम के साबुन से जो(Ram Naam Ke Sabun Se Jo)

राम नाम के साबुन से जो,
मन का मेल भगाएगा,

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