तू मेरा राखा सबनी थाई - गुरुवाणी शब्द कीर्तन (Tu Mera Rakha Sabni Thai)

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी


तुम्हारी किरपा ते तुद पछाणा,

तू मेरी ओट तू हैं मेरा माना

तू मेरी ओट तू हैं मेरा माना

तुझ बिन दूजा अवार ना कोई

सब तेरा खेल पासारो जी,

सब तेरा खेल पासारो जी

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,


जिय जंत सब तुद उपाए,

जित जित भाणा तित तित लाये

सब किछ किता तेरा होवै

सब किछ किता तेरा होवै

नाही किछ असाडा जियो,

नाही किछ असाडा जियो

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,


नाम ध्याये महा सुख पाया,

हर गुण गाऐ मेरा मन सितलाया

गुरु पुरे वाजी वधाई

नानक जिता बिखाङा जी,

नानक जिता बिखाङा जी,

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,


तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,

तू मेरा राखा, सबनी थाई

तां भौ के हा काढा जी,

तां भौ के हा काढा जी,

तू मेरा पिता, तू हैं मेरा माता

तू मेरा बंधप, तू मेरा भ्राता

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मां खजाने बैठी खोल के(Maa Khajane Baithi Khol Ke)

शेरावाली माँ खजाने बैठी खोल के,
जोतावाली माँ खजाने बैठी खोल के,

छठ पूजा विधि

छठ पूजा एक महत्वपूर्ण हिंदू त्योहार है, जो सूर्य देव और छठी मैया की पूजा के लिए मनाया जाता है। यह त्योहार पूरे भारत में मनाया जाता है लेकिन बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश में इसका विशेष महत्व है।

बरसाने की लट्ठमार होली

बरसाने में हर साल लट्ठमार होली फाल्गुन मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि पर मनाई जाती है। इस साल 2025 में यह त्योहार 8 मार्च को मनाया जाएगा। पौराणिक कथाओं के अनुसार, एक बार भगवान श्रीकृष्ण अपने मित्रों के साथ राधारानी से भेंट करने के लिए बरसाना गए, और वहां जाकर राधारानी और उनकी सखियों को छेड़ने लगे।

मैया मोरी मैं नहिं माखन खायो (Maiya Mori Mai Nahi Makhan Khayo)

मैया मोरी मैं नहिं माखन खायो ।

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