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ऐ मालिक तेरे बंदे हम (Aye Malik Tere Bande Hum)

ऐ मालिक तेरे बंदे हम (Aye Malik Tere Bande Hum)

ऐ मालिक तेरे बंदे हम,

ऐसे हो हमारे करम

नेकी पर चले और बदी से टले,

ताकी हँसते हुये निकले दम


ये अंधेरा घना छा रहा,

तेरा इन्सान घबरा रहा

हो रहा बेख़बर, कुछ ना आता नज़र,

सुख का सूरज छुपा जा रहा

है तेरी रोशनी में वो दम,

तो अमावस को कर दे पूनम


बड़ा कमजोर है आदमी,

अभी लाखों हैं इस में कमी

पर तू जो खड़ा, है दयालू बड़ा,

तेरी क्रिपा से धरती थमी

दिया तूने हमें जब जनम,

तू ही झेलेगा हम सब के ग़म


जब जुल्मों का हो सामना,

तब तू ही हमें थामना

वो बुराई करें, हम भलाई भरें,

नहीं बदले की हो कामना

बढ़ उठे प्यार का हर कदम,

और मिटे बैर का ये भरम


ऐ मालिक तेरे बंदे हम,

ऐसे हो हमारे करम

नेकी पर चले और बदी से टले,

ताकी हँसते हुये निकले दम

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माता लक्ष्मी की उत्पत्ति

दीवाली के दिन माता लक्ष्मी की पूजा का विशेष महत्व है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना कर उनसे धन-वैभव और सुख-शांति की कामना की जाती है।

महिमा संतान लक्ष्मी की

सनातन परंपरा में धन की देवी लक्ष्मीजी के आठ अवतार बताए गए हैं। जिन्हें अष्ट लक्ष्मी कहा जाता हैं। इनमें संतान लक्ष्मी भी माता के प्रमुख अवतारों में से हैं।

जानिए क्या हैं माता लक्ष्मी के आठ प्रमुख स्वरूप

कार्तिक मास की अमावस्या तिथि हिंदू धर्म के सबसे बड़े त्योहार दीवाली के रूप में मनाई जाती है। इस दिन झिलमिलाते दीपों की ज्योति और हर्षोल्लास के साथ माता लक्ष्मी की विशेष पूजन की जाती है।

गज लक्ष्मी की महिमा

अष्ट लक्ष्मी में गज लक्ष्मी का व्रत और पूजन दिवाली के समान महत्वपूर्ण है। यह व्रत 16 दिनों तक चलता है। इस दिन महालक्ष्मी देवी अपार धन संपत्ति और खुशहाल जीवन का विशेष वरदान देती हैं।

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