Basant Panchami 2025: बसंत पंचमी के दिन मां सरस्वती की प्रतिमा और तस्वीर इस दिशा में करें स्थापित, जानें नियम
हिंदू पंचांग के अनुसार, हर साल वर्ष माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को बसंत पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। वहीं इस साल बसंत पंचमी 02 फरवरी को मनाया जाएगा। बंसत पंचमी का दिन मां सरस्वती के लिए विशेष महत्व रखता है। इस दिन ज्ञान, वाणी, बुद्धि, विवेक, विद्या और सभी कलाओं से युक्त मां सरस्वती की पूजा की जाती है। यह दिन शिक्षा और कला से जुड़े व्यक्तियों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। मान्यता है कि बंसत पंचमी के दिन विधिपूर्वक मां सरस्वती की पूजा करने से व्यक्ति संगीत, कला और शिक्षा के क्षेत्र में सफलता प्राप्त करता है, और मां शारदा का आशीर्वाद सदैव अपने भक्तों पर बना रहता है। वास्तु शास्त्र में मां सरस्वती की प्रतिमा से संबंधित कुछ विशेष नियम बताए गए हैं। यदि आप बसंत पंचमी के दिन इन नियमों का पालन करते हैं, तो ज्ञान की देवी की कृपा आपके ऊपर बनी रहेगी। आइए भक्त वत्सल के इस लेख में विस्तार से जानते हैं।
मां सरस्वती की प्रतिमा और तस्वीर घर की इस दिशा में करें स्थापित
- बसंत पंचमी के दिन मां सरस्वती की पूजा का विशेष महत्व है। इस दिन मां सरस्वती की प्रतिमा या तस्वीर को घर में स्थापित करने से शिक्षा और ज्ञान में वृद्धि होती है।
- मां सरस्वती की स्थापना के लिए सबसे अच्छी दिशा पूर्व या उत्तर है। यदि आपके घर में इन दिशाओं में कोई स्थान उपलब्ध नहीं है, तो आप ईशान कोण में भी मां सरस्वती की प्रतिमा स्थापित कर सकते हैं।
- मां सरस्वती की स्थापना करने से पहले उस स्थान को अच्छी तरह से साफ कर लें। फिर एक चौकी पर पीला कपड़ा बिछाकर मां सरस्वती की प्रतिमा या तस्वीर स्थापित करें।
मां सरस्वती की प्रतिमा स्थापित करने के नियम
- वास्तु शास्त्र के अनुसार, घर में मां सरस्वती की मूर्ति स्थापित करने के कुछ नियम हैं जिनका पालन करना शुभ माना जाता है।
- मां सरस्वती की मूर्ति को हमेशा कमल पुष्प पर विराजमान मुद्रा में ही रखना चाहिए। खड़ी मुद्रा में मूर्ति स्थापित करना शुभ नहीं माना जाता है। मूर्ति सौम्य, सुंदर और आशीर्वाद देने वाली मुद्रा में होनी चाहिए। मूर्ति कहीं से खंडित या टूटी-फूटी न हो।
- मां सरस्वती की तस्वीर को घर में स्थापित करना बहुत शुभ माना जाता है।
- आप बच्चों के कमरे में मां सरस्वती की प्रतिमा स्थापित कर सकते हैं। ताकि उनके अध्ययन में किसी तरह की कोई परेशानी न आए।
- मां सरस्वती की प्रतिमा एक बार स्थापित करने के बाद, उनकी नियमित पूजा-अर्चना करनी चाहिए। मां सरस्वती की प्रतिमा को घर में लगाने से सफलता में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं और व्यक्ति का ज्ञान भी बढ़ता है।