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तेरी अंखिया हैं जादू भरी: भजन (Teri Akhiya Hai Jadu Bhari)

तेरी अंखिया हैं जादू भरी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


सुनलो मेरे श्याम सलोना,

तुमने ही मुझ पर,

कर दिया टोना,

मेरी अंखियाँ तुम्ही से लड़ी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


तेरी अंखिया हैं जादू भरी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


तुम सा ठाकुर और ना पाया,

तुमसे ही मैंने नेह लगाया,

मैं तो तेरे ही द्वार पड़ी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


तेरी अंखिया हैं जादू भरी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


कृपा करो हरिदास के स्वामी,

बांके बिहारी अन्तर्यामी,

मेरी टूटे ना तुमसे लड़ी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥


तेरी अंखिया हैं जादू भरी,

बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥

नवरात्रि में कलश स्थापना कैसे करें

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किसी के काम जो आये, उसे इन्सान कहते हैं (Kisi Ke Kam Jo Aaye Use Insan Kahte Hai)

किसी के काम जो आये,
उसे इन्सान कहते हैं ।

मत्स्य द्वादशी कब है

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वृश्चिक संक्रांति पर विशेष योग

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