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रंगीलो मेरो बनवारी(Rangilo Mero Banwari)

मोहिनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी ॥


रत्न जड़े कुण्डल कानों में,

रत्न जड़े कुण्डल कानों में,

मोर मुकुट सिर धारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी ॥


तन केसरियो बागो साजे,

तन केसरियो बागो साजे,

नीले री असवारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी ॥


नैन रसीला जुलम करे है,

नैन रसीला जुलम करे है,

लेउँ नज़र उतारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी ॥


खाटू में मंदिर रवि सन्मुख,

खाटू में मंदिर रवि सन्मुख,

जा की शोभा भारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी ॥


मोहिनी मूरत प्यारी,

रंगीलो मेरो बनवारी,

मोहनी मूरत प्यारी ॥

दर्श करा दे मेरे सांवरे, म्हारे नैना हुए बावरे (Darsh Kara De Mere Sanware Mhare Naina Huye Baware)

दर्श करा दे मेरे सांवरे,
म्हारे नैना हुए बावरे,

तेरा जग है करें गुणगान, गजानन लम्बोदर(Tera Jag Hai Kare Gunagaan Gajaanan Lambodar)

तेरा जग है करे गुणगान,
गजानन लम्बोदर,

केतु ग्रह की पूजा विधि

केतु को आध्यात्मिक विकास, मोक्ष और वैराग्य का कारक माना जाता है। केतु ग्रह व्यक्ति के पिछले जन्मों के कर्मों का फल देते हैं। यह व्यक्ति के जीवन में अचानक बदलाव ला सकता हैं, चाहे वह अच्छे हों या बुरे।

भगवान दत्तात्रेय की पौराणिक कथा

मार्गशीर्ष माह की पूर्णिमा के दिन भगवान ब्रह्मा, विष्णु और महेश इन तीनों देवों के अंश माने जाने वाले भगवान दत्तात्रेय का जन्म हुआ था। भगवान दत्तात्रेय को गुरु और भगवान दोनों की उपाधि दी गई है।

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