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मेरे भोले बाबा जटाधारी शम्भू (Mere Bhole Baba Jatadhari Shambhu)

मेरे भोले बाबा जटाधारी शम्भू,

हे नीलकंठ त्रिपुरारी हे शम्भू ॥


नंदी की सवारी है,

गौरा मैया साथ है,

डोर ये जीवन की,

तेरे ही हाथ है,

सर्पों की गल में माला है,

पहने तन पे छाला है,

तन पे भस्म रमाते हैं,

महाकाल कहलाते हैं,

तीनो लोक तुझसे पावन,

हे दयालु हे शम्भू,

मेरे भोलें बाबा जटाधारी शम्भू,

हे नीलकंठ त्रिपुरारी हे शम्भू ॥


भूतों की सेना है,

भूतनाथ कहाते है,

रास रचा संग कान्हा के,

गोपेश्वर बन जाते है,

जो भी दर पे आता है,

झोली भर ले जाता है,

मन इच्छा फल पाता है,

तेरे ही गुण गाता है,

तीनो लोक तुझसे पावन,

हे दयालु हे शम्भू,

मेरे भोलें बाबा जटाधारी शम्भू,

हे नीलकंठ त्रिपुरारी हे शम्भू ॥


मेरे भोले बाबा जटाधारी शम्भू,

हे नीलकंठ त्रिपुरारी हे शम्भू ॥

देवी सरस्वती स्तोत्रम् (Devi Saraswati Stotram)

या कुन्देन्दु-तुषारहार-धवलाया शुभ्र-वस्त्रावृता
या वीणावरदण्डमण्डितकराया श्वेतपद्मासना।

विधाता तू हमारा है - प्रार्थना (Vidhata Tu Hamara Hai: Prarthana)

विधाता तू हमारा है,
तू ही विज्ञान दाता है ।

ब्रह्मानंदम परम सुखदम (Brahamanandam, Paramsukhdam)

ब्रह्मानंदम परम सुखदम,
केवलम् ज्ञानमूर्तीम्,

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