नवीनतम लेख

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन(Manmohan Kanha Vinti Karu Din Rain)

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन,

राह तके मेरे नैन, राह तके मेरे नैन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन,

राह तके मेरे नैन, राह तके मेरे नैन,

अब तो दर्श बिना कुञ्ज बिहारी,

मन है बेचैन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन

नेह की डोरी तुम संग जोड़ी,

हम से तो नाही जाये ये तोड़ी,

हे मुरलीधर कृष्ण मुरारी,

हे मुरलीधर कृष्ण मुरारी,

तनिक न आवे चैन,

राह तके मेरे नैन, राह तके मेरे नैन,

अब तो दर्श बिना कुञ्ज बिहारी, मन है बेचैन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन


जन्म-जन्म से पंथ निहारु,

बोलो किस विध तुमको पुकारू,

जन्म-जन्म से पंथ निहारु,

बोलो किस विध तुमको पुकारू,

हे नटनागर हे, गिरधारी,

हे नटनागर हे, गिरधारी,

काह न पावे वैर,

राह तके मेरे नैन, राह तके मेरे नैन,

अब तो दर्श बिना कुञ्ज बिहारी, मन है बेचैन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन,

मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन

होली क्यों मनाई जाती है

फाल्गुन मास की पूर्णिमा के दिन होली मनाई जाती है। इस दिन पूरा देश अबीर-गुलाल और रंग में सराबोर रहता है। हर कोई एक-दूसरे पर प्यार के रंग बरसाते हैं। होली के रंगों को प्रेम का प्रतीक भी माना जाता है।

धरती गगन में होती है तेरी जय-जयकार (Dharti Gagan Mein Hoti Hai Teri Jay-Jayakar)

जय जय शेरा वाली मां, जय जय मेहरा वाली मां।
जय जय ज्योता वाली मां, जय जय लाता वाली मां।।

बनाएगा मेरी बिगड़ी, मेरा भोला शंकर: भजन (Banayega Meri Bigadi Bhola Shankar)

तेरी दया तेरा साया,
सदा रहता मुझ पर,

भला किसी का कर ना सको तो (Bhala Kisi Ka Kar Na Sako Too)

भला किसी का कर ना सको तो,
बुरा किसी का मत करना,

यह भी जाने