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कभी राम बनके, कभी श्याम बनके (Kabhi Ram Banake Kabhi Shyam Banake)

कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


तुम राम रूप में आना,

तुम राम रूप में आना

सीता साथ लेके,

धनुष हाथ लेके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


तुम श्याम रूप में आना,

तुम श्याम रूप में आना,

राधा साथ लेके,

मुरली हाथ लेके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


तुम शिव के रूप में आना,

तुम शिव के रूप में आना,

गौरा साथ लेके,

डमरू हाथ लेके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


तुम विष्णु रूप में आना,

तुम विष्णु रूप में आना,

लक्ष्मी साथ लेके,

चक्र हाथ लेके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


तुम गणपति रूप में आना,

तुम गणपति रूप में आना

रिद्धि साथ लेके,

सिद्धि साथ लेके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥


कभी राम बनके कभी श्याम बनके,

चले आना प्रभुजी चले आना ॥

मुझे कैसी फिकर सांवरे साथ तेरा है गर सांवरे (Mujhe Kaisi Fikar Saware Sath Tera Hai Gar Saware)

मुझे कैसी फिकर सांवरे,
साथ तेरा है गर सांवरे,

चंद्रदेव को प्रसन्न करने के उपाय

हिन्दू धर्म में अमावस्या तिथि का विशेष महत्व है। ख़ासकर, पौष मास की अमावस्या को पितरों को प्रसन्न करने और चंद्रदेव की कृपा प्राप्त करने का उत्तम अवसर माना गया है। इस दिन भगवान सूर्य, चंद्रदेव और श्रीहरि की विधिवत पूजा के साथ पिंडदान और तर्पण का विधान है।

मेरे गणराज आये है (Mere Ganaraj Aaye Hai)

वक्रतुण्ड महाकाय,
सूर्यकोटि समप्रभ:,

भोले के कांवड़िया मस्त बड़े मत वाले हैं (Bhole Ke Kawadiya Masat Bade Matwale Hain)

चली कांवड़ियों की टोली,
सब भोले के हमजोली,