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तेरे दर पे ओ मेरी मईया, तेरे दीवाने आए हैं,
तेरे दर पे माँ, जिंदगी मिल गई है,
तेरे दर जबसे ओ भोले, आना जाना हो गया,
तेरे डमरू की धुन सुनके, मैं काशी नगरी आई हूँ,
तेरी अंखिया हैं जादू भरी, बिहारी मैं तो कब से खड़ी ॥
तेरे स्वागत में मैया जी, मैंने पलके बिछाई है,
तेरे पूजन को भगवान, बना मन मंदिर आलीशान ।
तेरे पावन माँ नवरात्रों में, ज्योत तेरी जगाए हुए हैं,
तेरे नाम की धुन लागी, मन है तेरा मतवाला,
तेरे नाम का करम है ये सारा, भक्तो पे छाया है सुरूर शेरावालिये,